पहाड़ी क्षेत्रों में दो दिन से मौसम खराब है, जिसके चलते ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी तो निचले क्षेत्रों में बारिश हो रही है। केदारनाथ धाम में बर्फबारी से ठंड का प्रकोप अत्यधिक बढ़ गया है। यहां आईटीबीपी के साथ पुलिस के जवान सुरक्षा व्यवस्था में तैनात हैं। जवानों को भारी ठंड में पानी की समस्या से भी जूझना पड़ रहा है। यहां तीन से चार इंच तक बर्फ जम चुकी है।
केदारनाथ धाम के अलावा मदमहेश्वर व तुंगनाथ धाम में भी बर्फबारी हो रही है। तुंगनाथ धाम में बर्फबारी का आनंद लेने को पर्यटक पहुंच रहे हैं। मिनी स्विट्जरलैंड चोपता से मात्र तीन किमी की दूरी पर तुंगनाथ धाम मंदिर है। यहां भी शीतकाल के दौरान कपाट बंद रहते हैं, लेकिन भक्त चोपता की वादियों में बर्फबारी का आनंद लेने के साथ ही मंदिर परिसर के बाहर से ही बाबा तुंगनाथ के दर्शन करते हैं। इसके अलावा बाबा केदार की शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर में भी पर्यटक बड़ी संख्या में पहुंच रहे हैं। पर्यटकों के आने से शीतकालीन यात्रा को भी बढ़ावा मिल रहा है।
मौसम विभाग के अनुसार पश्चिमी विच्छोभ की सक्रियता के कारण तथा राजस्थान में कम दबाव का क्षेत्र बनने से मौसम में यह परिवर्तन देखा जा रहा है। मौसम विभाग का कहना है कि अगले दो दिनों में राज्य के 3200 मीटर से अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी, गरज के साथ ओलावृष्टि तथा बिजली गिरने की घटनाएं पेश आ सकती हैं। खास तौर से चमोली, उत्तरकाशी और पिथौरागढ़ तथा बागेश्वर में दो दिन मौसम खराब रहेगा। वहीं मैदानी क्षेत्रों में हरिद्वार, उधम सिंह नगर तथा देहरादून में बारिश होने की संभावना जताई गई है। उधर राजधानी दून में गुरूवार सुबह से काले बादल छाए रहे तथा रुक-रुक कर बारिश का दौर अभी तक जारी है। तेज हवाओं के कारण शीतलहर जैसे हालात बन गए हैं। अगले दिन इसी तरह का मौसम रहने की संभावना है।